Friday, 28 December 2018

आप कब सही थे... इसे कोई याद नही रखता है। लेकिन आप कब गलत थे...इसे सब याद रखते हैं। Moral-अगर किसी को अपनाना है तो उसकी गलतीयाँ व अच्छाईयाँ दोनों के साथ अपनाना सीखो। -कभी कभी भगवान से भी गलती हो जाती है तो फिर इंसान क्या चीज है।

आप किसी के लिए चाहे,अपना वजूद दांव पर लगा दो। वह तब तक आपका हैं,जब तक आप उसके काम के हो। जिस दिन आप उसके काम के नहीं रहोंगे। या कोई गलती कर दोगे, उस दिन वो आपकी सारी #अच्छाईयाँ भूलकर अपनी फितरत दिखा देता हैं।

कर दिया है बेफिक्र तूने, फ़िक्र अब मैं कैसे करूँ.. फ़िक्र तो यह है कि, तेरा शुक्र कैसे करूँ...!

Wednesday, 26 December 2018

कोई भी कारण हो, कोई भी बात हो, चिढ़ो मत - गुस्सा मत करो, जोर से मत बोलो, मन शांत रखो, विचार करो - फिर निर्णय लो, आवाज से आवाज नही मिटती, बल्कि चुप्पी से मिटती है, आप गुस्सा करेंगे तो तकलीफ सिर्फ आपको होगी, दुःख भी आपको ही होगा। मन शांत रखेंगे तो सुख भी आपको ही मिलेगा।

इंसान ख्वाइशों से बंधा हुआ एक जिद्दी परिंदा है ! उम्मीदों से ही घायल है.उम्मीदों पर ही जिंदा है !!

घनघोर अँधेरा एक तरफ, छोटे से दीपक की रौशनी एक तरफ, मुश्किलें कितनी भी हों, दीपक की तरह डटे रहो, सफलता तुम्हारे कदम चूमेगी

न मैं गिरा,और न मेरी उम्मीदों के मीनार गिरे..! पर.. लोग मुझे गिराने मे कई बार गिरे...! सवाल जहर का नहीं था , वो तो मैं पी गया, तकलीफ लोगों को तब हुई, जब मैं फिर भी जी गया ।

Sunday, 23 December 2018

मुझे गिरते हुए पत्तों ने ये समझाया है ; कि बोझ बन जाओगे तो अपने भी गिरा देते हैं ।

धोखा उस फल का नाम होता है , जो आसानी से किसी भी बाजार में मिल जाता है । और बहुत खूबसूरत होता है।

अगर कोई मनुष्य आपको केवल ज़रूरत पड़ने पर ही याद करता है तो उस बात का बुरा मत मानो, क्योंकि जब अँधेरा हो जाता है तभी दिए की याद आती है।

लोगों को अच्छा समझना छोड़ दो । “क्योंकि” अंदर से लोग वह नहीं होते जो ऊपर से दिखाई देते हैं । s.k.l

दुनिया आपको तब तक नहीं हरा सकती, जब तक आप खुद से न हार जाओ ।

Wednesday, 19 December 2018

अपने शब्दों में ताकत डालें, आवाज में नहीं'' ''क्यूंकि बारिश से फूल उगते हैं, बाढ़ से नहीं'।

हँसकर कबूल क्या कर लीं सजाएँ मैंने....... ज़माने ने दस्तूर ही बना लिया हर इलज़ाम मुझपर लगाने का...!

*कल* खो दिया *आज* के लिये;    *आज* खो दिया *कल* के लिये; कभी जी ना सके हम *आज*; *आज* के लिये ... बीत रही है जिदंगी, *कल, आज* और *कल* के लिये.

कभी फूलों की तरह मत जीना… जिस दिन खिलोगे... टूट कर बिखर जाओगे…!!" जीना है तो पत्थर की तरह जीओ.. जिस दिन तराशे गए " खुदा " बन जाओगे…!!

सबको अपनी-अपनी परेशानियां एक टेबल पर रखने और उसे  आपस मे बदल लेने की इजाजत मिल जाये, तो यक़ीन मानिए.... हर कोई चुपचाप अपनी  परेशानियां ही वापस उठा लेगा !!

Sunday, 16 December 2018

उम्मीद और विश्वास पर ही दुनिया कायम है!

यदि किसी समस्या को सुलझाया जा सकता है, तो फिर चिन्ता करने की क्या जरूरत है ? और यदि नही सुलझाया जा सकता तो फिर चिन्ता करना से क्या फायदा है

"पेड़ की शाखा पर बैठा पंछी कभी भी डाल हिलने से नहीं घबराता क्योंकि पंछी डाली पर नही अपने पंखों पर भरोसा करता है।" 

"कोई भरोसा तोड़े तो उसका भी धन्यावाद करें, वह हमे सिखाते है कि भरोसा बहुत सोच समझकर करना चाहिए।" 

"जो ज्ञानी होता है उसे समझाया जा सकता है, जो अज्ञानी होता है उसे भी समझाया जा सकता है पर जो अभिमानी होता है उसे कोई नहीं समझा सकता।&q...

"सच्चे लोगों को कभी प्रशंसा की आवश्यकता नहीं होती और असली फूलों को कभी इत्र लगाने की जरूरत नहीं पड़ती है ।"  

"आप यह नहीं कह सकते कि आपके पास समय नहीं है क्योंकि आपकों भी दिन में उतना ही समय मिलता है, जितना समय महान एवं सफल लोगों को मिलता है।&...

मुखौटे तमाम थे,,कुछ चेहरों पर.! गलती मेरी थी,, कि मैंने सिर्फ मुहब्बत ही पढ़ी.। साजिश वाला पासा देखा ही नहीं !s.k.l.

रिश्ते ओर रास्ते तब खत्म होते हैं,, जब पैर नही दिल थक जाते हैं.।

रखा करो नजदीकियां, ज़िन्दगी का कुछ भरोसा नहीं. . . फिर मत कहना चले भी गए और बताया भी नहीं. .!

लूट लेते हैं अपने ही--- वरना गैरों को क्या पता„„ इस “दिल” की दीवार कमजोर कहाँ से है...! 💝...✍♡

नाराज़गियों को कुछ देर चुप रह कर मिटा लिया करो,  ग़लतियों पर बात करने से रिश्ते उलझ जाते हैं.!

प्रतिशोध के लिए नहीं : परिवर्तन के लिए जो लड़ता है , वही कामयाब होता है । S.k.l.

Tuesday, 11 December 2018

वक्त : और : किस्मत : पर कभी घमंड न करना सुबह उनकी भी होती है, जिन्हें कोई याद नहीं करता. !

झुकने से अगर रिश्ते गहरे होते हैं तो झुक जाओ, ...लेकिन अगर बार-बार तुम्हें ही झुकना पड़े तो रुक जाओ✋।।

थोड़ा ग़ुरूर और घमण्ड भी चाहिए क्यों की ज्यादा झुको तो लोग पीठ को पायदान बना लेते है।

झुको उतना ही जितना सही हो, बेवजह झुकना दुसरे के एहम को केवल बढ़ावा देता है।।

किसी भी व्यक्ति पर हद से ज्यादा विश्वास नहीं करना चाहिए, क्योंकि सामने वाला व्यक्ति भी इन्सान हीं है….. और इन्सान की नीयत कभी भी खराब हो सकती है.